( जीवन की गाड़ी युही डगमग -डगमग करती हुई चलती है ,
जीवन में कही खुशिया कही गम बिखेर जाती है |)
हमारा जीवन गुलाब के फूल की तरह है,जो खिलता है तो
चारो तरफ खुशबू ही खुशबू फैला देता है |
गुलाब अपनी खूबसूरती और महक से तो सब का मन मोह लेता है ,
इसी प्रकार इंसान का जीवन भी गुलाब के फूल की तरह होना चाहिए ,
जो खिलने के बाद खुद तो सुंदर दिखता ही है ,साथ ही दूसरों को भी खुश कर देता है |
गुलाब ही ऐसा फूल होता है जो काटो के बीच में रह कर अपनी खूबसूरती
और गुणों को नहीं भूलता और ना ही अपनी प्रवृति को |
ठीक इसी प्रकार इंसान भी अनेको परेशनियो और काटो से गुजरता होता है , लेकिन
वह अपनी सुंदरता और प्रवृति को भी नहीं भूलता |
इसी लिए कहा की जीवन गुलाब के फूल की तरह होता है |
जीवन में कही खुशिया कही गम बिखेर जाती है |)
हमारा जीवन गुलाब के फूल की तरह है,जो खिलता है तो
चारो तरफ खुशबू ही खुशबू फैला देता है |
गुलाब अपनी खूबसूरती और महक से तो सब का मन मोह लेता है ,
इसी प्रकार इंसान का जीवन भी गुलाब के फूल की तरह होना चाहिए ,
जो खिलने के बाद खुद तो सुंदर दिखता ही है ,साथ ही दूसरों को भी खुश कर देता है |
गुलाब ही ऐसा फूल होता है जो काटो के बीच में रह कर अपनी खूबसूरती
और गुणों को नहीं भूलता और ना ही अपनी प्रवृति को |
ठीक इसी प्रकार इंसान भी अनेको परेशनियो और काटो से गुजरता होता है , लेकिन
वह अपनी सुंदरता और प्रवृति को भी नहीं भूलता |
इसी लिए कहा की जीवन गुलाब के फूल की तरह होता है |
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